Friday, November 7

संपादकीय

WHO की अपील रंग लाई:अमेरिका जरूरतमंद देशों को जून में 2 करोड़ वैक्सीन और देगा, 6 करोड़ वैक्सीन का वादा पहले ही कर चुकी है बाइडेन सरकार
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WHO की अपील रंग लाई:अमेरिका जरूरतमंद देशों को जून में 2 करोड़ वैक्सीन और देगा, 6 करोड़ वैक्सीन का वादा पहले ही कर चुकी है बाइडेन सरकार

जो बाइडेन एडमिनिस्ट्रेशन दुनिया के उन मुल्कों की फिर मदद करने जा रही है, जहां कोरोनावायरस से हालात खराब हैं, और जहां की सरकारें वैक्सीन खरीद पाने में ज्यादा कामयाब नहीं हो पाई हैं। राष्ट्रपति जो बाइडेन ने सोमवार रात कहा कि अमेरिका जून में 2 करोड़ वैक्सीन डोज डोनेट करेगा। इसके पहले भी अमेरिका 6 करोड़ वैक्सीन डोज डोनेट करने का वादा कर चुका है। बाइडेन की इस घोषणा के एक दिन पहले ही WHO चीफ टेड्रोस घ्रेबिसियस ने अमीर देशों की आलोचना करते हुए कहा था कि वे अपने यहां बच्चों और युवाओं को वैक्सीनेट कर रहे हैं, जबकि उन्हें इसकी जरूरत नहीं है। WHO चीफ ने कहा था- बेहतर होगा कि अमीर देश अपनी जिम्मेदारी समझें और उन मुल्कों को वैक्सीन दें, जहां अभी तक फ्रंटलाइन वर्कर्स को ही वैक्सीनेट नहीं किया जा सका है। इसके बाद न्यूयॉर्क टाइम्स ने भी अपने एडिटोरियल में बाइडेन एडमिनिस्ट्रेशन को यही सलाह दी थी। 2 क...
कोवीशील्ड लगवाने जा रहे लोग अब भी लौट रहे:सरकार का दूसरी डोज को वरीयता देने का सुझाव फुस्स साबित हुआ, इस रविवार को पूरे देश में लगी सिर्फ 71हजार दूसरी डोज
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कोवीशील्ड लगवाने जा रहे लोग अब भी लौट रहे:सरकार का दूसरी डोज को वरीयता देने का सुझाव फुस्स साबित हुआ, इस रविवार को पूरे देश में लगी सिर्फ 71हजार दूसरी डोज

लखनऊ की रहने वाली ममता जब सोमवार को कोवीशील्ड की दूसरी डोज लगवाने के लिए अपने नजदीकी वैक्सीनेशन केंद्र पहुंचीं तो उन्हें टीका लगाने से मना कर दिया गया। उन्हें बताया गया कि पहले से निर्धारित तारीख पर टीका नहीं लग सकता, क्योंकि सरकार ने वैक्सीन लगाने की अवधि बढ़ा दी है और अब उन्हें वैक्सीनेशन के लिए डेढ़ महीने बाद यानी 1 जुलाई को आना होगा। ऐसा तब हो रहा है जबकि एक दिन पहले ही स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से स्पष्टीकरण जारी किया जा चुका है कि अगर ऐसे लोग वैक्सीनेशन सेंटर पर आते हैं, जिनका रजिस्ट्रेशन पहले से है तो उन्हें वैक्सीन लगाई जानी चाहिए। इसके बावजूद अब भी यूपी में कोवीशील्ड की दूसरी डोज के लिए आए लोगों को लौटाने की प्रक्रिया जारी है। जिससे वैक्सीनेशन और खासकर दूसरी डोज लगवाने वालों की संख्या में तेजी से कमी आई है। वैक्सीन के प्रभाव को लेकर यह साबित हो चुका है कि टीका लगने के बाद कोर...
कोरोना के बाद कुदरत की मार:आंधी में छप्पर उड़ा तो परिवार खुले आसमां के नीचे, कुछ खाने को नहीं… किससे कहे दर्द
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कोरोना के बाद कुदरत की मार:आंधी में छप्पर उड़ा तो परिवार खुले आसमां के नीचे, कुछ खाने को नहीं… किससे कहे दर्द

कोरोना से लोगों के हालात नहीं सुधरे, कामकाज बंद, दैनिक उपयोग की वस्तुएं भी नहीं मिल रही, अब प्रकृति का कहर भी जीने नहीं दे रहा गांवों भी सभी प्रकार के कामकाज बंद है। दैनिक उपयोग की अन्य वस्तुओं के लिए भी दिक्कत है। कुछ परिवारों को प्रशासन ने उचित मूल्य की राशन दुकानों से बांटा गया राशन मिल रहा है, लेकिन कुछ को नहीं। यहीं के जमना प्रसाद ने बताया कि मेरे छोटा से परिवार में वृद्ध मां कोशियां बाई के अलावा पत्नी और बच्चें हैं। कच्चे मकान का छप्पर कुछ दिन पहले चली तेज आंधी के कारण उड़ गया। अब परिवार खुले आसमान के नीचे हैं। घर में कुछ खाने के लिए भी नहीं है। बुजुर्ग महिला कोशियां बाई ने बताया कि हमें भूखे पेट रहने की तो आदत सी पड़ गई है। अब किसके पास जाएं हमारी कौन सुनेगा। आठ माह से नहीं मिला राशन, परिवार का मुखिया अपाहिज, पटवारी ने पंचनामा बनायातहसील कार्यालय पास ही रहने वाले कोमल प्रस...
साथी हाथ बढ़ाना:5 किसान अपने तालाब और ट्यूबवेल से सूखी नहर में पानी डालकर दूसरे किसानों की बचा रहे फसल, 60 से 70 एकड़ फसल की हो रही सिंचाई; नाम दिया टेल-टू-हेड
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साथी हाथ बढ़ाना:5 किसान अपने तालाब और ट्यूबवेल से सूखी नहर में पानी डालकर दूसरे किसानों की बचा रहे फसल, 60 से 70 एकड़ फसल की हो रही सिंचाई; नाम दिया टेल-टू-हेड

मध्यप्रदेश के सबसे बड़ा गेहूं उत्पादक और कृषि मंत्री कमल पटेल के गृह जिला हरदा में 5 किसान जलदान कर रहे हैं। नहर में 15 मई से पानी आना बंद हो गया। आसपास के गांवों की मूंग की फसल को पानी की सख्त जरूरत है। जिन किसानों के पास सिंचाई के अन्य साधन नहीं थे उन्हें परेशानी होने लगी। कुछ किसानों की फसल सूखने लगी तो पांचों किसान आगे आए। इन्होंने अपने तालाब और ट्यूबवेल से नहर में पानी देने लगे। इससे डेढ़ से 2 किलोमीटर एरिया में सिंचाई हो सकेगी। 60 से 70 एकड़ में सिंचाई हो रही है। सोनखेड़ी गांव के किसान मुकेश पुनिया अपने 1 एकड़ के तालाब का पूरा पानी नहर में छाेड़ दिया है। उनके चारों मामा ने भी उनकी पहल काे आगे बढ़ाते हुए अपनी निजी ट्यूबवेल चालू कर पानी नहर में लगातार छोड़ रहे हैं। इस पहल की जिलेभर में सराहना की जा रही। इस पहले में अन्य किसानों ने भी जुड़ने की पहल की है। नर्मदापुरम संभाग के होशंग...
MP में कर्फ्यू तोड़ रहा वायरस की चेन:प्रदेश में 24 घंटे में 5,921 संक्रमित आए; 46 दिन में सबसे कम ; अब बड़ा खतरा ब्लैक फंगस, अब तक 281 केस आए
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MP में कर्फ्यू तोड़ रहा वायरस की चेन:प्रदेश में 24 घंटे में 5,921 संक्रमित आए; 46 दिन में सबसे कम ; अब बड़ा खतरा ब्लैक फंगस, अब तक 281 केस आए

15 जिलों में 50-50 से कम नए संक्रमितों की पहचान मध्यप्रदेश में कोरोना की रफ्तार में कमी आई है। सरकार का दावा है कि ये कर्फ्यू का असर है। 24 घंटे में प्रदेश में 5,921 नए केस सामने आए। 46 दिन में यह सबसे कम हैं। प्रदेश में एक्टिव केस घटकर 88 हजार 983 हो गए हैं। इसमें से 29 हजार 948 गांवों में मिले, जो कुल एक्टिव केस का 34% है। पॉजिटिविटी रेट घटकर 9% पर आ गया है। इसके बीच प्रदेश में ब्लैक फंगस बड़े खतरे के रूप में आ रहा है। अब तक 281 मरीज मिल चुके हैं, 27 की मौत हो चुकी है। स्वास्थ्य विभाग की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक कोरोना से अब तक 7,069 मरीजों की मौत हो चुकी है। इसमें रविवार को हुई 77 मौत शामिल हैं। इंदौर, भोपाल व ग्वालियर में 8-8 और जबलपुर में 5 मरीजों की मौत हुई। इंदौर में सबसे ज्यादा 1,307 नए कोरोना संक्रमित मिले। भोपाल में 657 नए मरीज मिले। यह 40 दिन में सबसे कम है। जबलपुर में 421...
IPL 2022 के लिए 2 नई टीमें:दो महीने बाद टेंडर निकाल सकता है BCCI, पहले मई में होना था; पढ़िए उन 4 शहरों और बिजनेसमैन के बारे में जो बोली के मामले में सबसे आगे हैं…
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IPL 2022 के लिए 2 नई टीमें:दो महीने बाद टेंडर निकाल सकता है BCCI, पहले मई में होना था; पढ़िए उन 4 शहरों और बिजनेसमैन के बारे में जो बोली के मामले में सबसे आगे हैं…

कोरोना ने भारतीय क्रिकेट पर गहरा प्रभाव छोड़ा है। पहले इसकी वजह से IPL 2021 को बीच सीजन में सस्पेंड करना पड़ा। अब भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) 2022 सीजन के लिए 2 नई टीमों की घोषणा को भी आगे बढ़ाने की सोच रहा है। सूत्रों के मुताबिक बोर्ड अब जुलाई या अगस्त में टेंडर रिलीज कर सकता है। बोर्ड के मुताबिक फिलहाल उनका ध्यान मौजूदा सीजन को खत्म करने का है। इस पर फैसला लेने से पहले वे नई टीमों के लिए टेंडर नहीं निकालेंगे। इससे पहले BCCI के एक अधिकारी ने मार्च में कहा था कि मई में 14वें सीजन के बीच में नई टीमों पर फैसला लिया जाएगा। बोर्ड ने कहा था कि नीलामी से लेकर टीम फाइनल करने तक की पूरी प्रक्रिया मई में हो जाएगी। एक बार टीम फाइनल होने के बाद वे टीम बनाने को लेकर काम शुरू कर सकते हैं। अब ये सारी प्रक्रिया आगे बढ़ सकती है। ये पहली बार नहीं होगा कि एक सीजन में 10 टीमें खेलेंगी। इससे पहल...
बंगाल में फिर CBI vs सरकार:नारदा केस में ममता के मंत्री और विधायक गिरफ्तार, CBI दफ्तर पहुंचकर CM बोलीं- मुझे भी अरेस्ट करो
अपराध जगत, आर्थिक जगत, कहानी, राजधानी समाचार, राज्य समाचार, विविध, संपादकीय

बंगाल में फिर CBI vs सरकार:नारदा केस में ममता के मंत्री और विधायक गिरफ्तार, CBI दफ्तर पहुंचकर CM बोलीं- मुझे भी अरेस्ट करो

बंगाल के नारदा केस में एक बार फिर CBI ने जांच तेज कर दी है। जांच एजेंसी ने सोमवार को कई जगह छापे मारे। इसके बाद ममता सरकार में मंत्री फिरहाद हाकिम, सुब्रत मुखर्जी, विधायक मदन मित्रा और पूर्व मेयर शोवन चटर्जी से पूछताछ शुरू की। पूछताछ के बाद सभी को अरेस्ट कर लिया गया। अब इन्हें कोर्ट में पेश किया जाएगा। CBI कोर्ट से इन चारों नेताओं की कस्टडी मांगेगी। इस कार्रवाई के दौरान एक बार फिर केंद्रीय मंत्री और बंगाल सरकार के बीच तनातनी दिखी। अपने मंत्रियों से पूछताछ के दौरान ही बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी CBI के दफ्तर पहुंचीं। रिपोर्ट्स के मुताबिक, उन्होंने एजेंसी से कहा कि आप मुझे भी गिरफ्तार करिए। उनके वकील ने कहा कि बिना नोटिस के मंत्रियों और विधायक को अरेस्ट नहीं किया जा सकता है। छापेमारी के बाद CBI दफ्तर लाया गयाइससे पहले CBI की टीम सोमवार सुबह ही फिरहाद हकीम के घर पहुंची थी। थोड़ी दे...
फिलिस्तीन-इजराइल जंग पर रिपोर्ट:यहां रात भर धमाके होते रहते हैं, मैं बच्चों को गले लगाकर सोता हूं; डर लगता है कहीं अगला बम हमारे ऊपर न गिर जाए
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फिलिस्तीन-इजराइल जंग पर रिपोर्ट:यहां रात भर धमाके होते रहते हैं, मैं बच्चों को गले लगाकर सोता हूं; डर लगता है कहीं अगला बम हमारे ऊपर न गिर जाए

गाजा में काम करने वाले पत्रकार बाहा गुल के तीन बच्चे हैं। इन दिनों वे घर में तेज आवाज में टीवी चलाते हैं ताकि बाहर की आवाजें अंदर न आएं। वे कहते हैं, 'मैं पूरी रात अपने बच्चों को गले लगाकर सोता हूं। सुबह तक मेरी कमर में दर्द हो जाता है। हर 15-15 मिनट में रात भर बम धमाके होते रहते हैं तो मुझे नींद भी नहीं आ पाती। मेरे दोनों हाथ कानों पर धरे होते हैं। जब बच्चे धमाकों की आवाज सुन मेरे पास आते हैं तो मैं उन्हें समझाता हूं कि बम दूर गिर रहे हैं, हमें कुछ नहीं होगा, लेकिन मैं यह भी जानता हूं कि गाजा में अभी कोई सुरक्षित नहीं है।' गुल कहते हैं कि गाजा के बच्चे सो नहीं पा रहे हैं। वो 24 घंटे दहशत में रहते हैं। मैं बच्चों का ध्यान हिंसा से हटाने के लिए उन्हें स्कैच और रंग देता हूं ताकि वो कलर करके समय बिता सकें। मैं बच्चों को छत पर भी जाने नहीं देता, क्योंकि यहां छत पर खेल रहे बच्चों पर भी बम गि...
मध्यप्रदेश के गांवों से ग्राउंड रिपोर्ट:दो बार घर-घर सर्वे और बायकॉट की चेतावनी देकर कोरोना से जीती जंग, कुछ गांव ऐसे जहां बीमारी के डर से ज्यादा विस्थापन का दर्द
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मध्यप्रदेश के गांवों से ग्राउंड रिपोर्ट:दो बार घर-घर सर्वे और बायकॉट की चेतावनी देकर कोरोना से जीती जंग, कुछ गांव ऐसे जहां बीमारी के डर से ज्यादा विस्थापन का दर्द

सागर से कोई 60 किलोमीटर दूर नौरादेही अभयारण्य में बसा गांव खापा। यहां विस्थापन हो रहा है, इसलिए कोरोना को लेकर कोई चर्चा नहीं है। इन्हें कोरोना से बचने से ज्यादा रोटी, कपड़ा और मकान की चिंता है। वहीं, नीमच जिले के 25 किलोमीटर के दायरे के तीन गांवों की कहानी एकदम अलग है। इन गांव के लोगों के तीन प्रयासों ने कोरोना को फटकने भी नहीं दिया। 1. तीन गांवों की कहानी जिले का गांव अल्हेड़। दोपहर 12 बजे यहां पहुंची, तो कुछ युवा गांव के मुख्य मार्ग पर कांटे लगाकर नाकेबंदी कर रहे थे। किशोर पाटीदार बोले- रास्ता तो 20 दिन से बंद है, आज तो यहां और ज्यादा झाड़ियां लगा रहे हैं ताकि कोई खोल नहीं पाए। दशरथ ने बताया- चार दिन पहले यहां मरीज थे, अब सब ठीक हैं। सरपंच पति श्यामलाल वसीटा ने बताया- मुझे और पिताजी को कोरोना हो गया था। पिताजी की मौत हो गई। मैं अब ठीक हूं। गांव में अब तक 50 मौतें हो चुकी है। ...
दूसरों के लिए सीख:बाहर से लौटे तो 10 दिन क्वारेंटाइन कराया, नतीजा: सांकलखेड़ा खुर्द में कोई संक्रमित नहीं
कहानी, गंजबासौदा, भोपाल संभाग, राज्य समाचार, विदिशा, विविध, शिक्षा-ज्ञान, संपादकीय, हैल्थ

दूसरों के लिए सीख:बाहर से लौटे तो 10 दिन क्वारेंटाइन कराया, नतीजा: सांकलखेड़ा खुर्द में कोई संक्रमित नहीं

जिला मुख्यालय से करीब 25 किमी दूर शमशाबाद रोड पर स्थित है सांकलखेड़ा खुर्द गांव। यहां की आबादी करीब 2500 है। यहां के सरपंच और ग्राम प्रधान सुरेंद्रसिंह रघुवंशी स्वयं हाथ में माइक लेकर पूरे गांव में घूमते हैं और लोगों को कोरोना संक्रमण से बचाव को लेकर जागरुक करते हैं। पिछले एक महीने से इस गांव में बाहर लोगों का प्रवेश बंद करवा दिया गया है। यदि कोई इंदौर, भोपाल और अन्य शहरों से गांव में आता है तो उसे पहले पंचायत भवन में 10 दिनों तक क्वारेंटाइन कर दिया जाता है। इसके बाद ही गांव में प्रवेश दिया जाता है। इतना ही नहीं यदि को सर्दी, बुखार और खांसी के लक्षण होते हैं तो उसे नजदीकी पीपलखेड़ा स्वास्थ्य केंद्र में पहुंचाकर इलाज करवाया जाता है। यही वजह है कि पिछले एक साल में यहां एक भी ग्रामीण अभी तक कोरोना से संक्रमित नहीं हुआ है। पूरे गांव को संक्रमण छू तक नहीं सका है। इस संबंध में गांव के स...