Saturday, October 18

वर्षों से कार्यरत फिर भी नियमितीकरण से वंचित रह गए, भविष्य भी असुरक्षित

मप्र कार्यभारित कर्मचारी एवं दैनिक वेतन भोगी (स्थाई कर्मी) श्रमिक महासंघ ने भारतीय मजदूर संघ के प्रदेश व्यापी आह्वान पर प्रदेश के मुख्यमंत्री के नाम 8 सूत्रीय मांगों का एक ज्ञापन कलेक्टर कार्यालय में पहुंचकर डिप्टी कलेक्टर अमृता गर्ग को सौंपा। वर्षों से प्रदेश के शासकीय/अर्द्ध शासकीय विभागों व संस्थाओं में कार्यरत दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों की लंबित मूलभूत समस्याओं के निराकरण के लिए महासंघ ने प्रदर्शन किया।

महासंघ के पदाधिकारियों का कहना है कि प्रदेश के समस्त शासकीय /अर्द्ध शासकीय विभागों व संस्थाओं में कार्यरत दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों को 2016 में विनियमित कर स्थाई कर्मी घोषित किया जाकर नया वेतनमान लागू किया गया।

इसके पश्चात भी सालों से कार्यरत होने के बावजूद भी नियमितीकरण से वंचित हो गए, जिससे कर्मचारियों का भविष्य असुरक्षित हो गया है। महासंघ अनुरोध करता है कि कर्मचारियों की समस्याओं के निराकरण हेतु शासन स्तर की बैठकों में भी इस वर्ग को आमंत्रित किया जाए जिससे समस्याएं ऊपरी स्तर तक पहुंच सके।

कर्मचारी को भी पूर्व की भांति अनुकंपा का लाभ दिया जाए
ज्ञापन में मांग की गई है कि दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी (स्थाई कर्मी) को भी पूर्व की भांति अनुकंपा का लाभ दिया जाए। सरकार द्वारा 7 अक्टूबर 2016 में प्रथम नियुक्ति दिनांक से वेतन वृद्धि दी गई है। दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों के (स्थाई कर्मी) को राष्ट्रीय पेंशन योजना (एनपीएस) द्वारा किए गए कटोत्रे को जीपीएफ में समायोजित करने की कृपा करें। समस्त स्थाई कर्मियों को वेतन वृद्धि का लाभ नहीं मिल रहा है।

प्रदेश के समस्त शासकीय अर्द्धशासकीय संस्था व समितियों वन समितियों आदि में संविदा ठेका आउट सोर्स पर कार्यरत कर्मचारियों भवन समिति में कार्यरत श्रमिकों को वर्तमान में 5000 वेतन दिया जा रहा है, वह भी समय पर नहीं दिया जाता है। ऐसे कर्मचारियों को दैनिक वेतन भोगी घोषित कर कलेक्टर दर से भुगतान किया जाए, जिससे कि इन कर्मचारियों के भविष्य से खिलवाड़ ना हो।

उपादान राशि की सीमा लगभग 10 लाख तय हो
दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों (स्थाई कर्मी) के उपादान राशि का वर्षों से चले आ रहे एक्ट में संशोधन कर उपादान राशि की सीमा लगभग 10 लाख तय की जाए, जिससे भविष्य सुरक्षित हो सके। कार्यभारित कर्मचारियों को अर्जित अवकाश के नकदीकरण का लाभ प्रदान किया जाए। प्रदेश के समस्त दैनिक वेतन भोगी एवं स्थाई कर्मी कर्मचारियों को आयुष्मान कार्ड बनाए जा रहे हैं एवं दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों व श्रमिकों के प्रत्येक 6 माह में बढने वाले महंगाई भत्ता रुपए 25.00 प्रति सूचकांक से बढ़ाकर 100 रुपए प्रति सूचकांक बढ़ाया जाए। ज्ञापन देने वालों में प्रमुख रूप से राजेश माथुर प्रदेश अध्यक्ष, महेंद्र सोनी विभाग प्रमुख, हरि कृष्ण शर्मा जिलाध्यक्ष आदि मौजूद रहे।

ताकि भविष्य रहे सुरक्षित
महासंघ की मांग है कि अन्य प्रदेशों की भांति हम दैनिक वेतन भोगी, स्थाई कर्मी कर्मचारियों को भी पुरानी पेंशन बहाली का लाभ दिया जाए, जिससे कि हमारा भविष्य सुरक्षित होकर वृद्धावस्था में जीवन यापन कर सकें।

वर्षों से कार्यरत कई शासकीय/ अर्द्धशासकीय विभागों व संस्थाओं में दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी कार्यरत हैं नगर पालिका, नगर निगम, नगर पंचायत, महर्षि पाणिनि संस्कृत विद्यालयों में कार्यरत को कृपया बिना शर्त सभी दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों को स्थाई कर्मी घोषित किया जाए। समस्त दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों (स्थाई कर्मी) को सातवें वेतनमान का लाभ दिया जाए एवं नियमित कर्मचारियों की तरह सभी सुविधाएं दी जाए।