
नईदिल्ली |14 फरवरी को पुलवामा में आतंकी हमले के बाद भारत ने वैश्विक स्तर पर मसूद अजहर को वैश्विक आतंकवादी घोषित किए जाने को लेकर अपनी कोशिश शुरू कर दी थी. भारत ने दुनिया के कई देशों में मसूद अजहर और उसके आतंकी गतिविधियों को लेकर जानकारी साझा करना शुरू कर दिया था. भारत ने इस सिलसिले में कई देशों में अपने विशेष प्रतिनिधि भेजे. साथ ही कई देशों के साथ इस संबंध में द्वीपक्षीय वार्ता के जरिए दबाव बनाता रहा. जिसके परिणाम स्वरुप भारत ने आज बैश्विक स्तर पर बड़ी सफलता प्राप्त कर ली हैं यूएन में अजहर को वैश्विक आतंकी घोषित किया गया। इस बीच भारतीय अफसरों ने कहा कि पाक इस पूरे मामले को भटकाने की कोशिश कर रहा है ताकि वह इस बड़े कूटनीतिक झटके से उबर सके। यूएन के फैसले के बाद पाक ने मसूद पर सख्ती की बात कही थी।संयुक्त राष्ट्र में भारत के राजदूत सैयद अकबरुद्दीन ने कहा, ‘‘सभी देशों ने मिलकर मसूद को वैश्विक आतंकी करार दिए जाने का फैसला लिया है।’’ चीन ने मंगलवार को ही इसके संकेत दे दिए थे कि वह इस बार मसूद का नाम प्रतिबंधित सूची में शामिल करवाने की कोशिशों में रोड़ा नहीं बनेगा। हालांकि, इससे पहले चीन ने चार बार भारत की कोशिशों को तकनीकी कारण बताकर रोका था। चीन संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्य है। वही इस पूरे मामले में पाक के विदेश मंत्रालय का कहना हैं की “यूएन द्वारा मसूद पर लगाए गए बैन तुरंत लागू होंगे। अब वह न तो विदेश यात्रा और न ही हथियारों की सप्लाई कर पाएगा। पाक एक जिम्मेदार देश है और हम उचित कार्रवाई करेंगे। हमने इससे पहले मसूद को आतंकी घोषित करने वाले प्रस्ताव को इसलिए नामंजूर कर दिया था क्योंकि इसका मकसद पाक की छवि को खराब करना था।