Tuesday, October 21

एमपी के हाईप्रोफ़ाइल हनी ट्रैप केस की लड़की की एक और करतूत, पुलिस ने पकड़ा

उसने अपनी खूबसूरती को कमाई का जरिया बना लिया। रूप के जाल में कई नेताओं, रईसों, अफसरों को फांसा, उनके अश्लील वीडियो बनाए और फिर करोड़ों रुपए ऐंठे। इतना ही नहीं, जल्द अमीर बनने की चाहत में ब्लेकमेलिंग के लिए बाकायदा एक गैंग बना ली लेकिन लालच भारी पड़ गया और वह पुलिस की गिरफ्त में आ गई। एमपी के हाईप्रोफ़ाइल हनी ट्रैप केस की इस आरोपी लड़की आरती दयाल की अब एक और करतूत सामने आई है।

इस बार उसे बेंगलुरु पुलिस ने पकड़ा है। आरती दयाल को गिरफ्तार करने के बाद बेंगलुरु पुलिस ने एमपी पुलिस को मामले की जानकारी भी दे दी है। आरती दयाल को सबसे पहले सन 2019 में इंदौर के बहुचर्चित हनीट्रैप में क्राइम ब्रांच ने पकड़ा था। उस पर इंदौर के एक इंजीनियर ने ब्लेकमेलिंग के आरोप लगाए थे।

अभी यह केस कोर्ट में चल रहा है। इस हाईप्रोफ़ाइल मामले में आरोपी बनने के बाद भी आरती दयाल अपनी हरकतों से बाज नहीं आई। वह बेंगलुरु चली गई और वहां अपना शिकार ढूंढने के लिए एक स्पा पार्लर में काम करने लगी। जॉब के लिए वह वहीं के एक पीजी में रह रही थी। यहां उसने साथ रह लड़कियों के जेवर, नकदी चोरी करना शुरु कर दिया।

पीजी में रहने के दौरान उसने लड़कियों के लाखों के सोने के गहने-नगदी पर हाथ साफ किया। लड़कियों ने आरती दयाल पर चोरी की FIR दर्ज कराई तो वह बैंगलुरु से भी भाग गई। हालांकि पुलिस ने उसे आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा से गिरफ्तार कर लिया। पुलिस के अनुसार उसपर कुल 10 लाख का माल चोरी करने का आरोप है।

बेंगलुरु पुलिस ने बताया कि आरती दयाल यहां पीजी में रहकर एक स्पा पार्लर में काम कर रही थी। जॉब करते हुए वह पीजी में चोरी भी करती रही और आखिरकार पकड़ी भी गई। आरती दयाल को गिरफ्तार करने के बाद बेंगलुरु पुलिस ने एमपी के PHQ को इसके बारे में आधिकारिक जानकारी दी।

हाईप्रोफ़ाइल हनीट्रैप मामले की मास्टर माइंड है आरती दयाल
आरती दयाल एमपी के हाईप्रोफ़ाइल हनीट्रैप मामले की मास्टर माइंड है।
इंदौर नगर निगम के इंजीनियर हरभजन सिंह की शिकायत पर क्राइम ब्रांच ने उसे 18 सितंबर 2019 गिरफ्तार किया था। उसके साथ ड्राइवर तथा भोपाल की तीन और इंदौर की दो महिलाओं को भी पकड़ा गया था। इंजीनियर का आरोप था कि इस गैंग ने हनी ट्रैप में फंसाकर उसके वीडियो बनाए और बाद में तीन करोड़ रुपये मांगे। मामले में इंदौर के पलासिया थाने में आरती दयाल और ड्राइवर ओमप्रकाश कोरी के साथ ही गैंग की बरखा सोनी भटनागर, श्वेता विजय जैन, मोनिका यादव, श्वेता स्वप्निल जैन, के खिलाफ केस दर्ज किया था। बाद में आरोपी आरती दयाल को जमानत मिल गई थी।