Saturday, October 18

सपने में आए हनुमानजी! खेत खोदा तो निकली ढाई फीट की मूर्ति

विदिशा में अजब गजब काम हुआ। एक संत ने बताया कि खेत में हनुमानजी की मूर्ति दबी है। लोगों ने खेत की खुदाई की तो वाकई एक मूर्ति निकली। हालांकि इस पर विवाद भी हुआ। प्रशासन ने खेत की खुदाई करने से मना कर दिया लेकिन लोग अड़ गए। आखिरकार खेत खोदकर लोगों ने मूर्ति निकाल ली। खास बात यह है कि संत ने लोगों से कहा था कि उन्हें यहां हनुमानजी की मूर्ति दबी होने का सपना आया था। गांव के लोग अब यहां मंदिर बनाने की बात कह रहे हैं।

विदिशा के लटेरी के धरगा गांव में हनुमानजी की यह मूर्ति मिली है। ग्रामीणों के अनुसार ओंकारेश्वर के संत हरिदास त्यागी ने बताया था कि यहां खेत में हनुमानजी की मूर्ति दबी है। वे कुछ माह पहले यहां आए थे तब उन्होंने खेत की खुदाई करने को कहा था। जब संत हरिदास दोबारा यहां लौटे तो खेत की खुदाई कर मूर्ति नहीं निकालने पर नाराज हो गए। इसके बाद गांववालों ने खेत खोदना शुरु कर दिया।

करीब 4—5 फीट खोदने के बाद उन्हें एक मूर्ति मिल गई। मूर्ति हनुमानजी की ही है और करीब दो ढाई फीट की है। बुधवार को जैसे ही सुबह गांववाले खेत खोदने आए, तभी पुलिस और प्रशासन के अधिकारी भी आ गए। यहां जुटी भीड़ को उन्होंने खुदाई करने से रोक दिया। प्रशासन का कहना था कि यह खेत वन विकास निगम की जमीन पर है।

इस पर गांव वालों ने विरोध किया और यहीं बैठ कर भजन कीर्तन करना शुरु कर दिया। इस बीच अधिकारियों ने जांच की तो पता चला कि जमीन गांव के ही एक किसान दुर्ग सिंह की है। इसके बाद खुदाई की अनुमति दे दी गई। खुदाई में करीब ढाई फीट की हनुमान मूर्ति निकली, यह मूर्ति पत्थर की है।

ग्रामीणों ने बताया कि संत हरिदास त्यागी जब दोबारा गांव आए तो उन्होंने फिर कहा कि खेत एक सिद्ध स्थान है। यहां हनुमानजी की मूर्ति दबी हुई है। संत के दोबारा बोलने के बाद गांववालों ने बुधवार को सुबह से ही खेत में खुदाई करना शुरु कर दिया।

इस संबंध में कलेक्टर उमाशंकर भार्गव ने बताया कि सरकारी जमीन की शंका होने के कारण खुदाई रोकी गई थी। जांच में जब जमीन किसान की निकली तो अनुमति दे दी गई। इधर मूर्ति निकलने के बाद वहां पूजा पाठ शुरू हो गई है। अब गांववाले यहां मंदिर बनाने की तैयारी करने में लग गए हैं।