Tuesday, September 23

PM मोदी ने दिया 3200 करोड़ का तोहफा… 10 पॉइंट्स में समझें केरल पर ‘कृपा’ की कहानी, जानें एक तीर से कितने निशाने

लूंगी जैसी धोती, सफेद कुर्ता और कंधे पर साफा… केरल के पारंपरिक परिधान में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सोमवार 24 अप्रैल को कोच्चि पहुंचे। उसी परिधान में उन्होंने पैदल रोड शो भी किया।आज पीएम मोदी ने वंदे भारत एक्सप्रेस, वॉटर मेट्रो सहित कई विकास योजनाओं की सौगात केरल को दी। तिरुवनंतपुरम के सेंट्रल स्टेडियम में आयोजित एक कार्यक्रम में 3200 करोड़ रुपये की विभिन्न परियोजनाओं का उन्होंने शिलान्यास भी किया। पीएम मोदी की यात्रा, केरल पर BJP का फोकस और भगवा दल की बदली हुई रणनीति सियासी मायने निकाले जा रहे हैं। कहा जा रहा यह सारी कवायद लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर की जा रही है। आइए जानते हैं, केरल में पीएम मोदी की बढ़ती सक्रियता के क्या मायने हैं

केरल पर कृपा की कहानी, क्या है BJP का ब्लू प्रिंट

1. केरल में बीजेपी के जनाधार को मजबूत करना

केरल में बीजेपी अभी तक सत्ता से दूर है। 2014 में केंद्र में मोदी सरकार आने के बाद से राज्य में बीजेपी की ताकत बढ़ी है। लेकिन पार्टी अभी भी ड्राइविंग सीट से काफी दूर है। पीएम मोदी की केरल में बढ़ी सक्रियता का कारण राज्य में भाजपा के जनाधार को मजबूत करना है। भाजपा दक्षिण भारतीय राज्यों में अपना पहुंच बढ़ाना चाहती है।

2. 2024 के चुनाव के लिए सियासी जमीन बनाना

केरल में लोकसभा की 20 सीटें है। केरल में राजनीति में वाम दलों की दखल है। भाजपा केरल की किसी भी लोकसभा सीट से अभी तक चुनाव नहीं जीत सकी है। नॉर्थ ईस्ट के राज्यों में भगवा का झंडा बुलंद करने के बाद अब भाजपा की नजर केरल पर है। 2024 के चुनाव से पहले भाजपा केरल में अपने लिए सियासी जमीन तैयार कर रही

3. एके एंटनी के बेटे अनिल एंटनी से भाजपा को उम्मीद
केरल के पूर्व सीएम और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एके एंटनी के बेटे अनिल एंटनी ने बीते दिनों कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था। वो अब भाजपा में शामिल हो चुके हैं। भाजपा अनिल एंटनी के जरिए केरल में अपनी पकड़ मजबूत करने की कोशिश में जुटी है। कल कोच्चि में पीएम मोदी के पैदल रोड शो के दौरान अनिल एंटनी को देखकर मोदी उनके पास रुके, उनके कंधे पर थपकी दी। दोनों नेताओं ने एक-दूसरे का अभिवादन भी किया।

4. वाम और कांग्रेस पर एक साथ चोट कर रहे मोदी

केरल में पीएम मोदी वाम और कांग्रेस पर एक साथ चोट कर रहे हैं। सोमवार को युवाओं से बात करते हुए पीएम मोदी ने कहा, “भाजपा हमेशा युवाओं के साथ रहेगी, जबकि पारंपरिक मोर्चे युवाओं की भलाई का कर्तव्य निभाने में विफल रहे हैं। पिछले कुछ वर्षों में दो पारंपरिक राजनीतिक मोर्चो के बीच वैचारिक मतभेद के कारण केरल में युवाओं के लिए बहुत सारे अवसर खो गए। एक पार्टी ने अपनी पार्टी के विकास को ज्यादा तवज्जो दी तो वहीं दूसरे राजनीतिक मोर्चे ने एक परिवार को ज्यादा तवज्जो दी और दोनों ने ही युवाओं को फेल कर दिया।

5. केरल के युवाओं को लुभाने की कोशिश
पीएम मोदी केरल के युवाओं को लुभाने की कोशिश में लगे हैं। सोमवार को युवाओं को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि देश तेजी से प्रगति कर रहा है और मैं चाहता हूं कि केरल भी इसका इस्तेमाल करे और इसका हिस्सा बने। मैं चाहता हूं कि आप नौजवान केरल के लिए एक नया इतिहास लिखें और आप उसका नेतृत्व करें और मैं आपका अनुसरण करने के लिए तैयार हूं।

6. ईसाई और मुस्लिम वोटरों को साथ लाने की कवायद
केरल में ईसाई और मुस्लिम वोटरों की संख्या कई सीटों पर निर्णायक है। राष्ट्रवादी और मुखर हिंदूत्व छवि के बाद भी केरल में भाजपा ईसाई और मुस्लिम वोटरों को साथ लाने की कवायद में जुटी है। आंकड़े की बात करें तो केरल में 18 प्रतिशत ईसाई, 28 फीसदी मुसलमान और 54 प्रतिशत हिंदू है। भाजपा हिंदू वोटरों के साथ-साथ ईसाई और मुस्लिम को भी लुभाने की कोशिश में लगी है।
7. केरल के 8 बिशपों से मिले पीएम मोदी
केरल यात्रा के दौरान पीएम मोदी ईसाई संप्रदाय के 8 बिशपों से मिले। इससे पहले भी पीएम मोदी ने बिशपों से मुलाकात की थी। ईस्टर और ईद के दौरान केरल में भाजपा कार्यकर्ताओं ने स्नेहा यात्रा के जरिए ईसाई और मुस्लिम घरों का दौरा किया था। केरल में मिशन भाजपा के ब्लू प्रिंट के तहत पीएम मोदी और भाजपा के कई नेता पार्टी की छवि सुधारने में लगे हैं।
8. 1.8 किलोमीटर पैदल चलकर मोदी ने चौंकाया
सोमवार को पीएम मोदी ने कोच्चि रोड शो के दौरान पैदल चल कर लोगों को आश्चर्यचकित कर दिया था। मोदी ने अपने रोड शो के हिस्से के रूप में 1.8 किलोमीटर का हिस्सा चलने का फैसला किया। जबकि मूल कार्यक्रम यह था कि वह वाहन में होंगे, जब उन्होंने सड़कों पर चलने का फैसला किया तो उन्होंने सभी को चौंका दिया। इस दौरान मोदी के स्वागत में भीड़ भी खूब जुटी थी। जो राज्य में बीजेपी की बढ़ती ताकत को दिखाती है।
9. कांग्रेस के कमजोर होने से भाजपा की बढ़ी उम्मीद
केरल में कांग्रेस के कमजोर होने से भाजपा की उम्मीद बढ़ी है। भाजपा इसे एक राजनीतिक अवसर के रूप में देख रही है। यूडीएफ पठानमथिट्टा के पूर्व अध्यक्ष विक्टर थॉमस ने कल केरल कांग्रेस छोड़ दी और भाजपा में शामिल हो गए। कांग्रेस नेता अनिल एंटनी के जरिए भाजपा राज्य में अपना दबदबा बढ़ाने की कोशिश में जुटी है।

10. विधानसभा में भाजपा को 12.4 फीसदी मिले थे वोट, अब और बढ़ेगा आंकड़ा

बीजेपी ने पिछले विधानसभा चुनाव में राज्य के 12.4 फीसदी वोट बटोरे थे। हालांकि भाजपा एक भी सीट जीतने में नाकाम रही थी। लेकिन केरल में भाजपा को 12.4 प्रतिशत वोट मिलना बड़ी बात है। लोकसभा चुनाव 2024 में भाजपा अपने वोट प्रतिशत को बढ़ाने में जुटी है।

सोमवार को युवम 2023 को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि देश जाति, पंथ, धर्म के नाम पर बंट रहा है और युवाओं को इसके खिलाफ आगे आना चाहिए। उन्होंने कहा, पूर्वोत्तर में हो या गोवा में, कुछ बड़े समुदायों ने भाजपा की सराहना की है और केरल में भी इस संबंध में बदलाव की गुंजाइश है