Tuesday, September 23

लोकसभा चुनाव में कहां मोदी को कड़ी टक्कर दे सकते हैं केजरीवाल

7675_2014

नईदिल्ली। दिल्ली विधानसभा चुनाव में परचम लहराने वाली आम पार्टी आप लोकसभा चुनाव के लिए जोरदार तैयारी कर रही है। माना जा रहा है कि दिल्ली में कांग्रेस का सूपड़ा साफ करने के बाद आप लोकसभा चुनाव में भाजपा का भी खेल बिगाड़ सकती है। जनवरी 2012 में राजनीति में आने का एलान करने वाली आप 22 राज्यों में नेटवर्क खड़ा कर चुकी है। ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि क्या अरविंद केजरीवाल की पार्टी भाजपा को उसके गढ़ में पटखनी दे सकती है?आप गुजरात और कर्नाटक जैसे राज्यों में सभी लोकसभा सीटों पर लडऩे का एलान पहले ही कर चुकी है। अब यह तो साफ है कि आप मैदान में खुलकर लडऩे वाली है, लेकिन क्या केजरीवाल सिर्फ भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग के नाम पर भाजपा के गढ़ में वोट बटोर पाएंगे? 2014 लोकसभा चुनाव में 12 करोड़ नए वोटरों पर भी भाजपा और आप दोनों कही नजरें गड़ी हैं। अगर तरह की राजनीति की वजह से आप युवाओं में लोकप्रिय है तो नरेंद्र मोदी भी युवाओं के बीच बेहद लोकप्रिय हैं। सोशल मीडिया पर भी आप और भाजपा दोनों बेहद प्रभावशाली हैं और माना जा रहा है कि 180 सीटों पर सोशल मीडिया का प्रभाव रहेगा। इन सीटों को लेकर दोनों के बीच जोरदार कड़ा मुकाबला देखने को मिल सकता है।बड़ सवाल यह है कि क्या आप मध्यप्रदेश, गुजरात, राजस्थान, छत्तीसगढ़ जैसे भाजपा के गढ़ में सेंध लगाने का माद्दा रखती है या फिर दिल्ली विधानसभा चुनावों की तरह लोकसभा चुनाव में भी आप कांग्रेस को ही ज्यादा नुकसान पहुंचापाएगी। जानिए भाजपा के असर वाले प्रदेशों में आप की स्थिति क्या है और कौन से राज्यों में आप छुड़ा सकती है भाजपा के पसीने। 2014 में होने वाले लोकसभा चुनाव में भाजपा को जिन राज्यों में सबसे ज्यादा सीटें मिलने की उम्मीद है, उनमें राजस्थान, मध्यप्रदेश, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, कार्नाटक, गुजरात, छत्तीसगढ़ बिहार, उत्तराखंड, गोवा, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा और महाराष्ट्र जैसे राज्य शामिल हैं। वहीं आम आदमी पार्टी को सबसे ज्यादा उम्मीद दिल्ली हरियाणा, उत्तर प्रदेश और कनार्टक से हैं। इन राज्यों में पार्टी का नेटवर्क सबसे ज्यादा मजबूत दिख रहा है, लेकिन जिन राज्यों में भाजपा का पूर्ण वर्चस्व है, वहां पर आप को पैर जमाने में मुश्किल होती दिख रही है। आम आदमी पार्टी का नेटवर्क अगर सबसे ज्यादा कमजोर कहीं पर है तो वह मध्यप्रदेश, राजस्थान, और छत्तीसगढ़। राजस्थान में पार्टी का अभी तक कोई कार्यालय नहीं है, लेकिन 27 जिलों में घरों से लोग काम कर रहे हैं। राजस्थान में आप के 30000 सदस्य हैं। वहीं छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश में तो आप ने अभी तक शुरूआत भी नहीं की है। दूसरी ओर भाजपा ने लगातार तीसरी बार इस राज्य में परचम लहराया है।