बिहार में पुल गिरने की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं। हाल ही में एक और घटना सामने आई है जिसमें निर्माणाधीन सुल्तानगंज-अगुवानी घाट पुल का एक हिस्सा फिर से गंगा नदी में गिर गया। यह घटना प्रदेश में पुल निर्माण की गुणवत्ता और सुरक्षा मानकों पर सवाल खड़े करती है। हालांकि नौ साल से बन रहे इस पुल से जुड़ी ताजा घटना में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है, लेकिन पुल के विभिन्न हिस्सों के बार-बार ढहने से निर्माण की गुणवत्ता और परियोजना के संरेखण पर गंभीर सवाल उठते हैं।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा एक प्रमुख बुनियादी ढांचा परियोजना के रूप में परिकल्पित इस पुल का उद्देश्य भागलपुर जिले के सुल्तानगंज को खगड़िया जिले के अगुआनी घाट से जोड़ना था, जिससे भागलपुर से झारखंड तक खगड़िया के रास्ते यात्रा आसान हो सके। इससे क्षेत्र के एक महत्वपूर्ण संपर्क विक्रमशिला पुल पर यातायात की भीड़ को कम करने की भी उम्मीद थी।
बार-बार ढहने की घटनाएं यह तीसरी घटना है, इससे पहले 4 जून, 2023 को भी पुल ढहा था। निर्माण की महत्वपूर्ण खामियों और खराब गुणवत्ता को उजागर करता है। खगड़िया की तरफ खंभा नंबर 10 और 12 के बीच पहले हुए ढहने की वजह से बिहार सरकार की व्यापक आलोचना हुई थी।