Tuesday, September 23

यूएवी पर भी की आपत्ति पाकिस्‍तान ने भारत को बॉर्डर पर कैमरे लगाने से रोका

india-pakistan-border-fenनई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर के कठुआ में हुए आतंकी हमले से दो दिन पहले पाकिस्तान ने अंतर्राष्ट्रीय सीमा पर भारत द्वारा निगरानी के लिए कैमरे लगाए जाने का विरोध किया था।पाकिस्‍तान रेंजर्स ने भारत की ओर से अंतरराष्‍ट्रीय सीमा के पास यूएवी के इस्‍तेमाल पर भी आपत्ति की थी।

सूत्रों का कहना है कि 18 मार्च को बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसफ) और पाकिस्तानी रेंजर्स के बीच हुई डीआईजी लेवल की मीटिंग में पाकिस्तान ने यह मुद्दा उठाया था। हालांकि यह मीटिंग पाकिस्तान के अनुरोध पर ही बुलाई गई थी। यह बैठक 5 महीनों के अंतराल के बाद हुई थी।
20 मार्च को कठुआ में दो आतंकवादियों ने एक पुलिस स्टेशन पर हमला बोल था। इस हमले में पांच लोगों की जान गई थी जिसमें तीन सुरक्षाकर्मी भी शामिल थे और 10 लोग घायल हुए थे।
गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने कहा, ‘हमने अंतरराष्ट्रीय सीमा पर पिछले दस महीनों में कई हाई रेजोल्‍यूशन कैमरे लगाए थे, जिसके जरिए हम पल-पल की हरकत पर नजर रख रहे हैं। पाकिस्तान ने इन कैमरों को लेकर कड़ा विरोध जताया था। उनका कहना था हम उन पर नजर रख रहे हैं। ’
पिछले एक हफ्ते से मिल रही खुफिया रिपोर्ट्स इस ओर इशारा करती हैं कि लश्कर-ए-तैयबा की घुसपैठियों को भारतीय क्षेत्र में भेजने की योजना है। कुछ खुफिया सूचना में एक सरेंडर कर चुके पूर्व आतंकवादी का नाम सामने आया है जो कि 2003 में पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर से वापस आया है और जो कि इंटरनेशनल बॉर्डर के पास एक वैन में चार संदिग्ध आतंकवादियों के साथ देखा गया है।
गृह मंत्रालय के एक अधिकारी के मुताबिक, ‘हमें ये जानकारियां मिल रही हैं क्योंकि इंटरनेशनल बॉर्डर के पास लश्‍कर के कई लॉन्चपैड्स हैं।पिछले साल हमने उनमें से एक लॉन्चपैड को नष्ट कर दिया था। पिछले एक हफ्ते में 18 आतंकवादियों ने बार्डर पर कर भारत में घुसने की कोशिश की है।’
कठुआ हमले के बाद, गृह मंत्रालय ने बीएसएफ को बॉर्डर सिक्योरिटी के पुर्नमूल्यांकन के लिए कहा है और उन संवेदनशील स्पॉट्स पर ज्यादा ध्यान देने को कहा था जो आतंकवादियों को मदद पहुंचा सकते हैं।’ एक वरिष्ठ बीएसएफ अधिकारी ने बताया की बॉर्डर पर तैनाती बढ़ा दी गई है। बीएसएफ जम्‍मू में 192 किमी लंबी अंतरराष्‍ट्रीय सीमा की निगरानी करता है।