Tuesday, September 23

भारत जोड़ो यात्रा तक बयानबाजी पर सियासी सीजफायर, नेतृत्व परिवर्तन को लेकर पायलट खेमे की चिंता बरकरार

जयपुर। कांग्रेस के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री केसी वेणुगोपाल की ओर से बयानबाजी को लेकर सख्त रुख अपनाने और कार्रवाई की धमकी के बाद अब राजस्थान में भारत जोड़ो यात्रा तक बयानबाजी पर सियासी सीजफायर हो गया है, बयान बाजी करने वाले नेताओं को बाहर का रास्ता दिखाने की धमकी के बाद संभावना यही है कि अब संभवतः दोनों खेमों की ओर से बयानबाजी नहीं हो।

पार्टी के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री केसी वेणुगोपाल ने सीएम अशोक गहलोत और सचिन पायलट के हाथ उठाकर एकजुटता का दावा भी किया लेकिन सियासी सीजफायर के बीच सचिन पायलट कैंप के नेताओं की चिंता और बढ़ गई है। चिंता इस बात को लेकर है प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन सहित कई मांगों पर अब कब तक फैसला होगा? पायलट खेमे की ओर से बयानबाजी करके लगातार मुख्यमंत्री का चेहरा बदलने की मांग की जा रही थी।

पार्टी सूत्रों की माने तो राजस्थान में तकरीबन दिसंबर माह के आखिरी सप्ताह तक भारत जोड़ो यात्रा राजस्थान में रहेगी। ऐसे में चाहकर भी सचिन पायलट खेमा मुख्यमंत्री बदलने सहित अपनी मांगों को लेकर कोई बयान नहीं दे सकता है। अब इस बात को लेकर पायलट खेमा चिंतित है। चिंता इस बात की भी है कि अगर सचिन पायलट खेमे से जुड़े नेताओं की ओर से बयानबाजी की गई तो उन्हें कड़ी कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है। ऐसे में अब भारत जोड़ो यात्रा समाप्त होने के बाद क्या इस मामले को लेकर पायलट खेमा जोर-शोर से अपनी मांग उठाएगा या फिर कार्रवाई के डर से शांत रहेंगे।

बयानवीरों की रिपोर्ट को लेकर उलझन में डोटासरा
वहीं सबसे दिलचस्प बात तो यह है कि पार्टी के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री केसी वेणुगोपाल ने 25 सितंबर की घटना के बाद एक सर्कुलर जारी करके किसी भी प्रकार की बयानबाजी नहीं करनी की नसीहत दे डाली थी लेकिन बावजूद उसके दोनों खेमों की ओर से बयानबाजी जारी थी।

अब इस मामले में राष्ट्रीय संगठन महामंत्री केसी वेणुगोपाल ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट के समक्ष पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा को बयानबाजी करने वाले नेताओं की रिपोर्ट तैयार करके 2 दिन में भेजने को कहा है लेकिन बयानवीरों के खिलाफ रिपोर्ट तैयार करने को लेकर गोविंद सिंह डोटासरा उलझन में हैं।

दरअसल उनकी उलझन यह है कि सचिन पायलट कैंप और अशोक गहलोत कैंप के नेताओं की ओर से बयान बाजी की गई है। डोटासरा भी गहलोत कैंप से माने जाते हैं। इन बयानवीरों में खुद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट भी शामिल हैं। ऐसे में गोविंद सिंह डोटासरा अन्य नेताओं के साथ-साथ क्या गहलोत- पायलट की बयानबाजी की रिपोर्ट तैयार करके आलाकमान को भेजेंगे, इसे लेकर भी सियासी गलियारों में चर्चाओं का दौर तेज है।

वेणुगोपाल की सख्ती के बाद गलत-पायलट ने समर्थकों को दी हिदायत
सूत्रों की माने तो पार्टी के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री केसी वेणुगोपाल की ओर से बयानबाजी पर सख्त नाराजगी जाहिर करने के बाद अब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट ने भी अपने-अपने समर्थकों को किसी भी प्रकार की बयानबाजी नहीं करने की नसीहत दी है और साथ ही वेट एंड वॉच करने को कहा है।

देर रात तक मुख्यमंत्री आवास पर हुई भारत जोड़ो यात्रा की तैयारियों की बैठक के दौरान भी मुख्यमंत्री गहलोत ने अपने तमाम समर्थकों को किसी भी प्रकार की बयानबाजी नहीं करने को कहा है। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की ओर से हाल ही में पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट को गद्दार कहीं जाने के मामले के बाद सचिन पायलट कैंप के नेताओं ने भी मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ मोर्चा खोल दिया था। सचिन पायलट के करीबी माने जाने वाले खिलाड़ी बैरवा, राजेंद्र गुढ़ा और हरीश चौधरी ने भी सीएम गहलोत पर जमकर हमले किए थे।

बयानबाजी से पड़ सकता था भारत जोड़ो यात्रा पर असर
सूत्रों की माने तो सचिन पायलट कैंप और अशोक कैंप के बीच चल रही बयानबाजी का असर भारत जोड़ो यात्रा पर भी पड़ने की संभावना जताई जा रही थी, पार्टी के थिंक टैंक ने भी इसे लेकर चिंता जताई थी। जिसके बाद पार्टी आलाकमान के निर्देश के बाद राष्ट्रीय संगठन मंत्री केसी वेणुगोपाल दोनों खेमों में सुलह कराने के लिए जयपुर पहुंचे थे, जहां उन्होंने बैठक के दौरान सभी नेताओं को बयानबाजी नहीं करने की चेतावनी देते हुए कहा था कि जो भी बयानबाजी करेगा उसे पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया जाएगा।