Sunday, October 19

बोरोड्यांका शहर में हालात नरसंहार सहने बाले बुचा से भी बदतर, मायकोलाइव पर रूसी हमले में 10 की मौत, 46 घायल

रूस यूक्रेन जंग का आज 41वां दिन है। रूसी सेना धीरे-धीरे यूक्रेन के कुछ इलाकों से पीछे हट रही है। जिसके बाद इन जगहों की तबाही का मंजर सामने आ रहा है। बुचा शहर में रूसी नरसंहार के बाद जगह-जगह बिखरी लाशों ने पूरी दुनिया को झकझोर दिया है। उधर, यूक्रेन के प्रॉसिक्यूटर जनरल का कहना है कि बोरोड्यांका शहर के हालात बुचा से भी बदतर हैं। हालांकि, उन्होंने मरने वालों का आंकड़ा नहीं दिया।

दूसरी तरफ मायकोलाइव के मेयर ऑलेक्जेडर सेनकेविच के मुताबिक, बीते रोज शहर पर रूसी हमले में 10 लोगों की मौत हो गई, जबकि 46 लोग घायल है। 4 अप्रैल को रूस ने रिहायशी इलाकों समेत 2 अस्पतालों, एक अनाथालय, 11 किंडरगार्टन और 12 स्कूल पर हमला किया।

अन्य अपडेट्स…

  • सोशल मीडिया प्लेटफार्म फेसबुक और इंस्टाग्राम ने भी विरोध दर्ज कराते हुए हैशटैग बूचा किलिंग्स को अनब्लॉक कर दिया है। पहले हिंसक सामग्री के चलते इस हैशटैग को ब्लॉक कर दिया गया था।
  • बुचा शहर के नरसंहार की वजह से जर्मनी ने 40 रूसी डिप्लोमैट्स को बाहर निकाल दिया है।
  • विदेश मंत्री दिमित्रो कुलेबा की मांग है कि इस हफ्ते रूस पर सबसे सख्त प्रतिबंध लगाए जाएं।
  • बुचा नरसंहार के बाद अमेरिका ने UN से रूस को UNHRC से बाहर निकालने की मांग की है।
  • इस हफ्ते के आखिर तक अमेरिका यूक्रेन को 80 करोड़ डॉलर का सुरक्षा सहायता पैकेज देगा।
  • यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर​ जेलेंस्की आज संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद को संबोधित करेंगे।
  • अमेरिका के NSA जेक सुलविन का कहना है कि रूस पर और आर्थिक प्रतिबंध लगाए जाएंगे।

बाइडेन ने की पुतिन पर मुकदमा चलाने की मांग
बुचा नरसंहार के बाद के बाद अमेरिका की तरफ से तीखी प्रतिक्रिया सामने आ रही है। राष्ट्रपति जो बाइडेन ने एक बार रूसी राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन को वॉर क्रिमिनल बताते हुए उन पर मुकदमा चलाने की मांग की है। बाइडेन ने कहा- बुका में जो हुआ वह भयानक है और सभी ने इसे देखा है।

बोरोड्यांका शहर में 355 कुत्तों की मौत
रूसी हमले की वजह से इंसान तो इंसान जानवरों को भी जान का नुकसान उठाना पड़ा है। जानवरों के लिए काम करने वाले संगठन यूएनिमल्स के मुताबिक, बोरोड्यांका शहर में खाना और पानी नहीं मिलने से एनिमल शेल्टर होम में 355 कुत्तों की मौत हो गई।

रूस में दवाओं की कमी
जंग के कारण पश्चिम देशों की ओर से लगाए गए प्रतिबंधों के चलते रूस में दवाएं मिलना मुश्किल हो गया है। रूस में स्वास्थ्य अधिकारियों का कहना है कि यह घबराकर दवाएं खरीदने और प्रतिबंधों के कारण बनी मुश्किलों के चलते हुआ है।

रूस में 735 घंटे रहा इंटरनेट बंद
इस साल रूस में सबसे ज्यादा लंबे वक्त इंटरनेट बंद कर दिया गया था। 2022 में दुनिया के 9 देशों में 8000 घंटे इंटरनेट बंद रहा। इससे 19,500 करोड़ रु. का नुकसान हुआ।