इन दिनों देश मे कोरोना संक्रमण के चलते लॉकडाउन का तीसरा दौर चल रहा है ओर चौथे दौर की तैयारी है ,उसी के तारतम्य मे देश के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने देश को सम्बोधित करते हुए देश के नागरिकों को आत्मनिर्भर बनने का मंत्र भी दिया।उनके इस मंत्र के बाद लोगों मे खासा उत्साह देखा जा रहा है। इतना ही नहीं उनका बल लोकल की ओर भी था ,लोकल का मतलव स्थानीय ओर छोटे व्यवसायी जो अपना सामान अपने आसपास ही तैयार करते है ओर कम दामों मे भी उपलब्ध करा देते है।

कोरोना के इस काल मे कई महत्वपूर्ण तत्थ्य इतिहास का हिस्सा वन गये उसमे एक आत्मनिर्भर भी सम्मलित हो गया। ओर यह आत्मनिर्भरता आने बाले समय मे मील का पत्थर सावित होगा ,लोगों को रोजगार मिलेगा ,काम के प्रति लोगों मे रुचि बढेगी ,छोटे मोटे उद्योगों को बढावा मिलेगा ,सबसे बडी बात तो लोग आत्मनिर्भर बनेंगे जिससे देश के विकास मे एक बढा बदलाव आयेगा।
इस तरह कह सकते है भारत आत्मनिर्भरता की ओर बढ रहा है क्योंकि जिस देश का मुखिया आत्मविश्वास बाला हो तो वह देश अवश्य ही प्रगति की ओर कदम बढाता है । आज भले ही हम परेशान हुए हो पर हमारा साथ कोई विदेश कम्पनी देने नहीं आईं।हमें ऐसें समय मे हमारे आसपास के व्यवसायियों ने साथ दिया भले ही उनके पास ब्रांडेड कम्पनी का मटेरियल न हो पर बुरे वक्त में उन्होंने ही हमारा काम चलाया ।इसलिए अव समय की पुकार ओर देश की मांग यही है हमें इस आर्थिक स्थिति से निपटना है तो स्वदेशी कघ ओर जाना पडेगा, जिससे देश का पैसा देश मे ही रह सके।