Thursday, September 25

राहुल-खरगे के सामने सचिन पायलट- ‘भविष्य’ पर होगा फैसला! जानें क्यों महत्वपूर्ण है आज का दिन?

जयपुर।

राजस्थान कांग्रेस से जुड़े कई लंबित प्रकरणों के साथ ही इसी वर्ष प्रस्तावित विधानसभा चुनाव के मद्देनज़र रणनीति बनाने को लेकर आज नई दिल्ली में महत्वपूर्ण बैठक बुलाई गई है। पार्टी के राष्ट्रीय मुख्यालय में बुलाई गई इस बैठक के पैमाने का अंदाज़ा इस बात से लगाया जा सकता है कि इसमें आलाकमान के शीर्ष नेताओं के साथ प्रदेश कांग्रेस के करीब 30 वरिष्ठ नेताओं की मौजूदगी रहेगी।

जानकारी के अनुसार बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के अलावा सांसद राहुल गांधी और महासचिव के सी वेणुगोपाल भी मौजूद रहेंगे। इनके अलावा प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर रंधावा और तीन सह प्रभारियों काजी निजामुद्दीन, वीरेन्द्र राठौड़ और अमृता धवन भी शामिल होंगे।

प्रदेश के ये ‘दिग्गज’ रहेंगे मौजूद
आलाकमान के समक्ष होने वाली महत्वपूर्ण बैठक में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत स्वास्थ्य कारणों से जयपुर से ही वर्चुअल माध्यम से जुड़ेंगे, जबकि व्यक्तिगत रूप से शामिल होने के लिए प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा, पूर्व अध्यक्ष सचिन पायलट, वरिष्ठ नेता मोहन प्रकाश, भंवर जितेंद्र सिंह, सरकार में मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास, शकुंतला रावत, रामलाल जाट, जाहिदा खान, अशोक चांदना, राजेंद्र यादव, पूर्व मंत्री रघु शर्मा, वरिष्ठ नेता धीरज गुर्जर, हरीश चौधरी, रफीक खान और रामेश्वर डूडी भी मौजूद रहेंगे।

लिया जाएगा अब तक का फीडबैक
आलाकमान की आज की महत्वपूर्ण बैठक में पूरे राजस्थान का फीडबैक लिया जाएगा और आगामी रणनीति पर चर्चा होगी। बताया जा रहा है कि बैठक में शामिल सभी नेताओं को लगभग 5 मिनट तक अपने विचार रखने का मौक़ा दिया जाएगा। जबकि सबसे आखिरी में पीसीसी चीफ डोटासरा का भाषण होगा।

पायलट की भूमिका पर सस्पेंसराजस्थान के सन्दर्भ में आलाकमान की ये बैठक सचिन पायलट के लिहाज़ से भी काफी महत्वपूर्ण है। वो इसलिए क्योंकि आगामी विधानसभा चुनाव में उनका क्या रोल रहेगा, ये अभी तक साफ़ नहीं है। गौरतलब है कि पायलट मौजूदा समय में राजस्थान में सरकार में होते हुए भी ना तो सत्ता में और ना ही संगठन में ही मुख्य भूमिका में हैं। इससे पहले वे संगठन में राजस्थान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष और सरकार में डिप्टी सीएम की महत्वपूर्ण भूमिका में रह चुके हैं।

अब आया है राजस्थान का नंबर
आलाकमान इन दिनों मिशन मोड पर काम करता दिख रहा है। पहले हिमाचल प्रदेश और फिर कर्नाटक में बैक-टू-बैठक जीत से उत्साहित पार्टी ने अब राजस्थान समेत उन राज्यों पर फोकस करना शुरू कर दिया है, जहां इसी वर्ष विधानसभा चुनाव प्रस्तावित हैं। राजस्थान से पहले आलाकमान इसी तरह की फीडबैक बैठकें छत्तीसगढ़, तेलंगाना और मिजोरम को लेकर कर चुका है।