द लैंसेट डायबिटीज एंड एंडोक्रिनोलॉजी में प्रकाशित एक स्टडी में कहा गया है कि डायबिटीज को मैनेज करने वाली दवाओं के सेवन से हार्ट फेल होने की आशंका बढ़ जाती है। वैसे डायबिटीज के खतरे कम नहीं हैं और ये लगातार फैल रही है।
इन अंगों पर होता है इसका असर:
आंख
शुगर लेवल लगातार बढ़ने से रोशनी पर असर या अंधापन तक हो सकता है।
शुगर लेवल लगातार बढ़ने से रोशनी पर असर या अंधापन तक हो सकता है।
किडनी
लगातार शुगर लेवल बढ़ने से किडनी डैमेज हो जाती है।
लगातार शुगर लेवल बढ़ने से किडनी डैमेज हो जाती है।
दिल
डायबिटीज के मरीजों को हार्ट अटैक की आशंका दोगुनी रहती है।
डायबिटीज के मरीजों को हार्ट अटैक की आशंका दोगुनी रहती है।
कैसे बचें ?
डायबिटीज़ से बचने के लिए ये करना ज़रूरी है।
डायबिटीज़ से बचने के लिए ये करना ज़रूरी है।
एक्सरसाइज़
रोजाना 40-45 एक्सरसाइज करेंगे तो डायबिटीज का खतरा कम रहेगा।
रोजाना 40-45 एक्सरसाइज करेंगे तो डायबिटीज का खतरा कम रहेगा।
डाइट
सैचुरेटेड फैट और शुगर वाली डाइट से बचें। हमेशा बैलेंस्ड डाइट लें।
सैचुरेटेड फैट और शुगर वाली डाइट से बचें। हमेशा बैलेंस्ड डाइट लें।
स्ट्रेस
तनाव लेने से बचना चाहिए। अपनी नींद को हमेशा मेनटेन करें।
तनाव लेने से बचना चाहिए। अपनी नींद को हमेशा मेनटेन करें।
टाइप-1 डायबिटीज: 10% मरीज़ों को टाइप-1 है। इसमें इंसुलिन लेना पड़ता है।
टाइप-2 डायबिटीज़: 90% मरीज़ों को टाइप-2 है। इसमें दवा लेनी पड़ती है।
शुगर के लक्षण:
1- बार-बार प्यास लगना और मुंह सूखना।
2- दिन और रात में कई बार पेशाब आना।
3- अचनाक वज़न कम होना।
4- हल्के काम में भी थकान महसूस होना।
5- आंखों से धुंधला दिखना।
2- दिन और रात में कई बार पेशाब आना।
3- अचनाक वज़न कम होना।
4- हल्के काम में भी थकान महसूस होना।
5- आंखों से धुंधला दिखना।